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November 22, 2024
उत्तर प्रदेश राजनीति

#देश बांटने की #राजनीति करने वालों को करारा जवाब है #कैराना-नूरपुर की हार : #अखिलेश यादव

  • May 31, 2018
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#देश बांटने की #राजनीति करने वालों को करारा जवाब है #कैराना-नूरपुर की हार : #अखिलेश यादव

लखनऊ। समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव ने आज उत्तर प्रदेश की कैराना लोकसभा और नूरपुर विधानसभा सीटों के उपचुनाव में सपा-रालोद गठबंधन के प्रत्याशियों की कामयाबी के लिये जनता तथा सभी सहयोगी दलों को धन्यवाद देते हुए कहा कि अवाम ने देश को बांटने वाली राजनीति करने वालों को करारा जवाब दिया है।अखिलेश ने उपचुनाव परिणामों में सपा और रालोद के गठबंधन के प्रत्याशियों को निर्णायक बढ़त मिलने के बाद संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि उपचुनाव में भाजपा ने कोशिश की कि जमीनी सवालों पर मतदान ना हो। मगर जनता ने गन्ना, गरीबी और रोजगार के सवाल पर भाजपा को जवाब दिया है। गठबंधन की जीत में तमाम सहयोगी दलों का योगदान है। इसके लिये वह उन्हें धन्यवाद देते हैं।
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उन्होंने कहा कि भाजपा की इस हार के साथ देश को बांटने वाली राजनीति का खात्मा हो गया है। गठबंधन की यह कामयाबी देश की राजनीति के लिये एक संदेश है। यह किसान, गरीब, मजदूर और सामाजिक न्याय की लड़ाई को आगे बढ़ाने वालों की जीत है। गरीब और जनता को महसूस हो गया है कि केन्द्र की भाजपा सरकार के पांच बजट और उत्तर प्रदेश में इसी पार्टी की सरकार के दो बजट ने उन्हें कुछ नहीं दिया है। यह सरकार किसान गरीबों की नहीं बल्कि धोखा देने वालों की है।कैराना और नूरपुर उपचुनाव में बसपा का सहयोग नहीं मिलने के सवाल पर सपा अध्यक्ष ने कहा ‘‘चाहे लोगों ने कुछ भी कहा हो, लेकिन मैं कह सकता हूं कि हमें बसपा का सहयोग मिला है। आम आदमी पार्टी ने भी सहयोग किया। मैं रालोद, बसपा, आप, राकांपा, कांग्रेस, महान दल, निषाद पार्टी और पीस पार्टी का भी धन्यवाद करता हूं।’’।इस सवाल पर कि भाजपा ने पूरे देश में हुए उपचुनाव में खराब प्रदर्शन किया है। उत्तर प्रदेश में हुआ गठबंधन अगर कामयाब है तो क्या उसे पूरे देश में किया जाना चाहिये, अखिलेश ने कहा ‘‘सपा ने तो उन्हीं (भाजपा) का खेल सीखा है। जो खेल वो हमारे लिये खेलते थे।’’

उन्होंने कहा ‘‘जब विकास की बात हो रही थी, तब वो सामाजिक समीकरणों की बात कहते थे। सपा अपने विकास की बात कर रही थी, तब लोग कह रहे थे कि भाजपा की सोशल इंजीनियरिंग कितनी अच्छी है। उनके पास जनसांख्यिकी सम्बन्धी कितनी अच्छी जानकारी है। कितना अच्छी गणित लगाते हैं, कैसे जोड़ने का काम करते हैं। आप देखिये कितने दलों के साथ मिलकर केन्द्र की सरकार बनी है। कम से कम सपा ने उन्हीं से सीखा है।’’।उपचुनाव में चुनाव प्रचार नहीं करने के सवाल पर अखिलेश ने तंजिया लहजे में कहा ‘‘मैं मुख्यमंत्री जी के भाषण से डर गया था, इसलिये प्रचार करने नहीं गया था।’’।उपचुनाव में कामयाबी के बाद इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन के खिलाफ अपनी राय के बारे में पूछे जाने पर सपा अध्यक्ष ने कहा ‘‘ईवीएम पर सपा की जो राय पहले थी, वही आज भी है।’’