ब्राह्मण-क्षत्रिय आरक्षण आंदोलन समिति की मांग, खत्म हो जातिगत आधार पर आरक्षण
लखनऊ| हल्द्वानी के बुद्ध पार्क में ब्राह्मण-क्षत्रिय आरक्षण आंदोलन समिति के अध्यक्ष सुशील भट्ट की अध्यक्षता में एक सभा का आयोजन किया गया है। इस अवसर पर सुशील भट्ट ने कहा कि आज देश में 40 प्रतिशत अंक पाने वाले लोग नौकरी पा जाते हैं तथा 90 प्रतिशत वाले को दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर होना पड़ता है। आज शिक्षा, नौकरी व पदोन्नति से लेकर राजनीति तक हर जगह आरक्षण ही आरक्षण है। ब्राह्मण, क्षत्रिय व अन्य सामान्य जातियों के लिए कही कोई अवसर नहीं है, इस कारण वर्तमान आरक्षण व्यवस्था में कटौती कर ब्राह्मण व क्षत्रिय जातियों के लिए केन्द्र सरकार से 17 प्रतिशत आरक्षण की मांग करने व सरकार द्वारा स्वर्णों को आरक्षण न दिए जाने की स्थिति में जातिगत आधार पर आरक्षण को खत्म करने और गरीबी के आधार पर आरक्षण की मयवस्था को लागू करने के उद्देश्य से ब्राह्मण-क्षत्रिय आरक्षण आंदोलन समिति का गठन किया गया है।
सुशील भट्ट ने कहा कि सरकार किसी कीमत पर आरक्षण समाप्त नहीं करेगी, इसके लिए हमें योजनाबद्ध तरीके से केवल दो स्वर्ण जातियों के लिए आरक्षण की मांग करनी होगी, जिसके दबाव में आकर केंद्र सरकार को हमसे वैकल्पिक रास्ते की बात करनी पड़ेगी तो हम कह सकते हैं कि पूरे देश में जातिगत आरक्षण खत्म कर, आर्थिक आधार पर प्रत्येक जाति के लोगों को सामान आरक्षण दिया जाए। ब्राह्मण व क्षत्रिय आरक्षण की मांग करना हमारी मजबूरी है, इसलिए समस्त स्वर्ण जातियां मिलकर ब्राह्मण-क्षत्रिय आरक्षण आंदोलन समिति का सहयोग करें व देश में राष्ट्रीय स्तर पर एक बड़ा जन आंदोलन खड़ा करने में हमारी मदद करें।
सुशील भट्ट ने कहा कि उन्हें आरक्षण के मुद्दे पर भारी जन समर्थन मिल रहा है और जल्द ही संगठन की कार्यकारिणी घोषित की जाएगी।