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दिल्ली : भीमा कोरेगांव में दलितो पर हिंसा के विरोध में छात्रों का प्रदर्शन, पीएम मोदी से चुप्पी तोड़ने की मांग

  • January 4, 2018
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दिल्ली : भीमा कोरेगांव में दलितो पर हिंसा के विरोध में छात्रों का प्रदर्शन, पीएम मोदी से चुप्पी तोड़ने की मांग

नई दिल्ली | महाराष्ट्र के भीमा कोरेगांव में एक जनवरी को समारोह के दौरान दलितों पर हुए हमले के विरोध में बृहस्पत‌िवार को कई संगठन भाजपा के ख‌िलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं। इस कारण कनॉट प्लेस से इंड‌‌िया गेट जाने वाले रास्ते पर जाम भी लगा है। यह रास्ता द‌िल्ली ट्रैफ‌िक पुल‌िस ने बंद कर द‌िया है ज‌िसकी जानकारी उन्होंने अपने अध‌िकार‌िक ट्व‌िटर अकाउंट पर दी है। छात्रों के कई संगठनो ने हिंसा के खिलाफ प्रदर्शन किया और पीएम मोदी से चुप्पी तोड़ने की मांग की |

प्रदर्शन में दलितों पर हो रहे अत्याचारों के खिलाफ आवाज उठाई गई। इस प्रदर्शन में जेएनयूएसयू, आइसा, एफटीयू और राष्ट्रीय दलित महिला आंदोलन समेत कई संगठनों ने हिस्सेदारी की। इस बीच महाराष्ट्र सदन के बाहर पुलिस ने कड़ी घेराबंदी कर दी और वाहनों दूसरे मार्गों पर डायवर्ट कर दिया। भीमा कोरगांव में दलितों पर हुए हिंसक हमले के विरोध में इस प्रदर्शन की अगुवाई जेएनयूएसयू द्वारा की गई। इस दौरान जेएनयूएसयू के अलावा डीएसएफ (डेमोक्रेटिक स्टूटेंट्स फेडरेशन, जेएनयू), एआईसीसीटीयू, आईसा, आईएफटीयू (इंडियन फेडरेशन ऑफ ट्रेड यूनियन), एसएफआई (जेएनयू), सीपीआईएमएल (डेमोक्रेटिक), बासो (जेएनयू), अंबेडकरवादी लेखक संघ, बहुजन कम्युनिस्ट पार्टी और राष्ट्रीय दलित महिला आंदोलन के प्रतिनिधियों व सदस्यों के अलावा अन्य संगठन शामिल हुए। एक दिन पहले बुधवार कई संगठनों ने मिलकर महाराष्ट्र सदन पर जमकर नारेबाजी की |

प्रदर्शन के दौरान महाराष्ट्र से आई अभिलाषा ने आरोप लगाया कि एक जनवरी को जब भीमा कोरेगांव युद्ध की 200 वीं सालगिरह मनाने के लिए दलित समुदाय के लोग एकत्र हुए तब संघी और मराठों ने मिलकर दलितों पर जानलेवा हमला किया, जिसमें एक दलित की मौत हो गई। उन्होंने महाराष्ट्र में दलितों पर हो रहे अत्याचार के विरोध में कहा कि दलितों पर हो रहे हमलों के लिए मुख्यमंत्री देवेंद्र फडनवीस जिम्मेदार हैं। उन्होंने मांग की कि महाराष्ट्र के दलितों पर अत्याचार करना बंद किया जाए और कोरेगांव में हुई हिंसा के आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाए।